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National Seminar on "Women's Emancipation and Gender Sensitization"




दिनांक 25 अगस्त 2022 में जे. एस. हिन्दू (पी.जी.) कॉलेज, अमरोहा के सभागार में समाजशास्त्र तथा अंग्रेजी अध्ययन एवं शोध विभाग के संयुक्त तत्वावधान में 'नारी मुक्ति तथा जेंडर संवेदनशीलता’ विषय पर एक दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। आज की इस राष्ट्रीय संगोष्ठी का शुभारंभ मां सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण तथा दीप प्रज्ज्वलन के साथ किया गया। महाविद्यालय की छात्राओं द्वारा सरस्वती वंदना तथा स्वागत गीत का ओजस्वी पूर्ण तरीके से प्रस्तुतिकरण किया गया। राष्ट्रीय संगोष्ठी में डॉ. अनुराग कुमार पाण्डेय, असिस्टेंट प्रोफेसर, समाजशास्त्र विभाग द्वारा आगंतुक विशिष्ट एवं मुख्य अतिथि, शिक्षकों एवं प्रतिभागियों के सम्मान में स्वागत संबोधन प्रस्तुत किया गया।
संगोष्ठी के मुख्य वक्ता श्री आकाश के. अग्रवाल, टेड्क्स स्पीकर द्वारा ट्रांसजेंडर के विषय पर अपनी बात कहते हुए कहा कि समाज को मर्दानगी की तलाश व्यक्ति के लिंग में न कर व्यक्ति के कर्मों में तलाशनी चाहिए। अपनी सोच बदलनी होगी। ट्रांसजेंडर को लैंगिक आधार पर सामाजिक असमानता का जो दंश झेलना पड़ता है, उस पर समाज को अपनी सोच बदलनी होगी। हमें साथ में मिलकर इस मुद्दे पर एक व्यापक स्तर पर चर्चा करनी होगी, क्योंकि यह सामाजिक विमर्श का बहुत ही महत्वपूर्ण और संवेदनशील विषय है। समाज को अपनी सोच बदलने की जरूरत है, कि वो ट्रांसजेंडर को इंसान के रूप में देखें, न कि लैंगिक विभेद के आधार पर।
संगोष्ठी की विशिष्ट अतिथि श्रीमती रीना राय, जो कि दीपा अर्द्धनारेश्वर एम्पावरमेन्ट फाउंडेशन, नई दिल्ली की संस्थापक एवं अध्यक्ष भी है, ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि मैं एक नारी हूँ, और नारी ही संतानों को जन्म देती है, इसीलिए मैं ट्रांसजेंडर को हमेशा मातृत्व के भाव से ही देखती हूँ। श्रीमती राय काफी लंबे समय से ट्रांसजेंडर से जुड़े विषयों और उनके अधिकारों को लेकर बेहद संजीदगी से कार्य कर रही हैं। प्रतिभागियों द्वारा संगोष्ठी से जुड़े विषय पर शोध पत्रों/पेपर प्रस्तुतीकरण किया गया।
संगोष्ठी में मुख्य अतिथि की भूमिका का निर्वहन कर रही श्रीमद दयानन्द कन्या गुरुकुल महाविद्यालय चोटीपुरा, अमरोहा की प्राचार्या, डॉ. सुमेधा जी ने नारी सशक्तिकरण पर अपने विचार रखते हुए बालिका शिक्षा की पुरजोर वकालत की। उन्होंने यह भी कहा कि आज की नारी किसी भी मामले में पीछे नहीं है। आज की नारी समाज के प्रत्येक क्षेत्र में अपनी सफलता का परचम लहरा रही है। उन्होंने वैदिक ग्रन्थों में वर्णित नारी विषयक वृतांतों को भी अपने वक्तव्य में सम्मिलित किया। आज की राष्ट्रीय संगोष्ठी के संरक्षक महाविद्यालय की प्रबंध समिति के मंत्री श्री योगेश कुमार जैन ने कहा कि समाज की प्रगति और विकास में हमेशा से ही नारी का महत्वपूर्ण योगदान रहा है। इसके बाद महाविद्यालय की संस्कृति समिति के द्वारा 'आजादी के अमृत महोत्सव' के उपलक्ष्य में स्वतंत्रता संग्राम में जनपद अमरोहा (सेनानियों का सफरनामा) विषय पर तैयार की गई डाक्यूमेन्टरी का प्रस्तुतिकरण भी किया गया। अंत डॉ. संजय शाही, अध्यक्ष, भूगोल विभाग ने सभी के प्रति आभार व्यक्त करते हुए धन्यवाद ज्ञापन किया। संगोष्ठी में उत्कृष्ट मंच संचालन डॉ. मोहम्मद तारिक, असिस्टेंट प्रोफेसर, अंग्रेजी विभाग द्वारा किया गया। संगोष्ठी की रिपोर्टिंग श्री ज्ञानेश कुमार वर्मा, असिस्टेंट प्रोफेसर, समाजशास्त्र विभाग तथा डॉ० नागेंद्र प्रसाद मौर्य असिस्टेंट प्रोफेसर, अंग्रेजी विभाग ने किया। संगोष्ठी में महाविद्यालय के समस्त विभागाध्यक्ष, शिक्षक एवं शिक्षिकाएं और छात्र/छात्राओं ने सहभागिता की।